यूपी सिपाही भर्ती परीक्षा में यूपी रोडवेज ने अभ्यर्थियों को फ्री में सफर कराया था। इससे रोडवेज पर करीब 75 करोड़ रुपये का व्यय भार पड़ा।
सिपाही भर्ती परीक्षा के दौरान 48 लाख अभ्यर्थियों को रोडवेज बसों से निशुल्क यात्रा करवाई गई। इससे रोडवेज के 75 करोड़ रुपये का व्यय भार पड़ा। इसमें लखनऊ में 2,87,832 टिकट जारी किए गए, जिससे लखनऊ परिक्षेत्र पर 5,33,81,497 रुपये का व्यय आया। दरअसल, अभ्यर्थियों को परीक्षा केंद्रों तक पहुंचाने के लिए सीएम योगी आदित्यनाथ ने बसों में निशुल्क यात्रा कराने के निर्देश दिए थे। इसके बाद रोडवेज प्रशासन ने परीक्षार्थियों को बसों की सुविधा उपलब्ध कराई। सोमवार को रोडवेज प्रशासन ने सफर करने वाले परीक्षार्थियों का आंकड़ा जारी किया। रोडवेज के 20 परिक्षेत्रों में अभ्यर्थियों को कुल 48,00,170 टिकट जारी किए गए। इसके एवज में 75,09,42,956 रुपये का भार रोडवेज पर पड़ा। रोडवेज एमडी मासूम अली सरवर ने बताया कि परीक्षार्थियों की यात्रा के दौरान स्टेशनों पर उनके लिए सुविधाओं का भी विशेष ख्याल रखा गया। परीक्षा सकुशल हुई, इसमें परिवहन अधिकारियों की भूमिका उल्लेखनीय रही।
सिपाही भर्ती परीक्षा के दौरान 48 लाख अभ्यर्थियों को रोडवेज बसों से निशुल्क यात्रा करवाई गई। इससे रोडवेज के 75 करोड़ रुपये का व्यय भार पड़ा। इसमें लखनऊ में 2,87,832 टिकट जारी किए गए, जिससे लखनऊ परिक्षेत्र पर 5,33,81,497 रुपये का व्यय आया। दरअसल, अभ्यर्थियों को परीक्षा केंद्रों तक पहुंचाने के लिए सीएम योगी आदित्यनाथ ने बसों में निशुल्क यात्रा कराने के निर्देश दिए थे। इसके बाद रोडवेज प्रशासन ने परीक्षार्थियों को बसों की सुविधा उपलब्ध कराई। सोमवार को रोडवेज प्रशासन ने सफर करने वाले परीक्षार्थियों का आंकड़ा जारी किया। रोडवेज के 20 परिक्षेत्रों में अभ्यर्थियों को कुल 48,00,170 टिकट जारी किए गए। इसके एवज में 75,09,42,956 रुपये का भार रोडवेज पर पड़ा। रोडवेज एमडी मासूम अली सरवर ने बताया कि परीक्षार्थियों की यात्रा के दौरान स्टेशनों पर उनके लिए सुविधाओं का भी विशेष ख्याल रखा गया। परीक्षा सकुशल हुई, इसमें परिवहन अधिकारियों की भूमिका उल्लेखनीय रही।
वर्ष 2019 में हुई सिपाही और समकक्ष पदों पर भर्ती की परीक्षा में अभ्यर्थी ने अपने स्थान पर सॉल्वर बैठाया था। जांच के बाद इस बात का खुलासा हुआ है। इस पर सीओ भर्ती ने हुसैनगंज थाने में अभ्यर्थी के खिलाफ एक सितंबर को केस दर्ज कराया है। पुलिस उपाधीक्षक भर्ती अम्बरीष सिंह भदौरिया के मुताबिक, अक्तूबर 2018 में सिपाही और समकक्ष पदों की भर्ती निकाली गई थी। इसके तहत 2019 में मथुरा के महाबन बांगर स्थित केके डिग्री कॉलेज में हुई लिखित परीक्षा में शिकोहाबाद के सीरपुर का निवासी सचिन कुमार बैठा था। परीक्षा में पास होने पर अभ्यर्थी 15 जनवरी 2021 को फिजिकल टेस्ट के लिए चयनित हुआ था। यहां उसका बायोमीट्रिक मिलान किया गया तो भिन्न पाया गया। इस पर अभ्यर्थी सचिन कुमार के सभी दस्तावेज व लिखित परीक्षा के दिन लिए गए बायोमीट्रिक आदि साक्ष्यों का फोरेंसिक में मिलान कराया गया। जांच के दौरान सभी साक्ष्य भिन्न पाए गए। इस दौरान यह पता चला कि सचिन ने परीक्षा में अपने स्थान पर सॉल्वर बैठाया था, लेकिन फिजिकल टेस्ट देने खुद पहुंचा था। खेल खुलने पर सीओ भर्ती अंबरीष सिंह भदौरिया ने हुसैनगंज थाने में केस दर्ज कराया है। इंस्पेक्टर हुसैनगंज के मुताबिक, मामले की तफ्तीश की जा रही है।